Bokaro: उपायुक्त राजेश सिंह ने शनिवार को निजी बैंकों को कड़ी फटकार लगाते हुए कहा कि सरकारी योजनाओं का क्रियावन ना होने पर संबंधित बैंकों के खिलाफ कार्रवाई की जा सकती है। उन्होंने कहा कि निजी बैंकों द्वारा सरलता के साथ सभी प्रकार के खाता(चालू/बचत) खुलवाने के साथ-साथ फिक्स डिपॉजिट पर बल दिया जाता है, लेकिन जिले के लाभुकों को जैसे ही सरकारी योजना से आच्छादित करने की बात आती है, तो इन बैंकों की उदासीनता देखने को मिलती है। ऐसे बैंकों को चिन्हित कर उनके विरूद्ध करवाई करने हेतु संबंधित विभाग को पत्र के माध्यम से अग्रेषित किया जाएगा।
उपायुक्त राजेश सिंह की अध्यक्षता ने अपने कार्यालय में जिले के सभी बैंक प्रबंधकों के साथ डीएलसीसी तथा डीएलआरसी की समीक्षा बैठक की। बैठक के दौरान एलडीएम बोकारो दिनेश्वर राणा ने सभी बैंकों के द्वारा प्राप्त प्रतिवेदनों के आधार पर कृषि, पशुपालन, मत्स्यपालन, लघु एवं कुटीर उद्योगों के विकास हेतु सरकार की महत्वकांक्षी योजनाओं के अनुरूप बैंकों द्वारा किए जा रहे कार्यों की रिपोर्ट प्रस्तुत की।


समीक्षा के क्रम में उपायुक्त ने कहा कि बैंकों द्वारा निर्धारित लक्ष्य के अनुरूप लाभुकों को सही तरीके से लघु एवं कुटीर उद्योग को बढ़ावा देने हेतु पीएमईजीपी पर कार्य नहीं किया जा रहा है। इस वजह से जिले के ज्यादातर बेरोजगार युवा लघु एवं कुटीर उद्योगों से नहीं जुड़ पा रहे हैं। सभी बैंकों को उन्होंने निर्देश दिया कि निर्धारित लक्ष्य के अनुरूप में वह लाभुकों को जल्द से जल्द इस योजना के माध्यम से ऋण प्रदान करें ताकि अधिक से अधिक लाभुकों को इस योजना से आच्छादित किया जा सके।
उन्होंने कहा कि आगामी 20 दिसंबर 2020 तक निर्धारित लक्ष्यों के अनुरूप सभी बैंक लाभुकों को ऋण देने की प्रक्रिया पूरी कर लें। जिन लाभुकों का ऋण हेतु आवेदन निरस्त किया जा रहा है, उनकी भी समीक्षा उप विकास आयुक्त जयशंकर प्रसाद की अध्यक्षता समीक्षा बैठक कर उसका निष्पादन जल्द से जल्द करें। ताकि बोकारो जिला को औद्योगिक शहर के रूप में विकसित किया जा सके तथा रोजगार के कई अवसरों का सृजन यहां के स्थानीय लोगों के लिए किया जा सके।
