Bokaro: सेल (SAIL) के बोकारो स्टील प्लांट (BSL) काफी समय बाद भर्ती प्रक्रिया शुरू की है। बुधवार को बीएसएल ने 146 पदों पर भर्ती की घोषणा करते हुए, उम्मीदवारों से आवेदन मंगाए है। अटेंडेंट सह तकनीशियन प्रशिक्षु (NCTT-NSC) पद पर एस-1 ग्रेड में भर्ती होगी। निकले गए वैकेंसी में 21 पद भूतपूर्व सैनिको के लिए आरक्षित किये गए है।
बीएसएल द्वारा जारी वैकेंसी के मुताबिक उम्मीदवार की अधिकतम आयु 28 वर्ष होनी चाहिए। साथ ही शैक्षणिक योग्यता 15 सितम्बर 2022 तक मैट्रिक के बाद किसी एकीकृत इस्पात संयंत्र से निर्दिष्ट ट्रेड में न्यूनतम एक वर्ष का ऐप्रेन्टिसशिप प्रशिक्षण किया हुआ होना चाहिए। या फिर राष्ट्रीय व्यावसायिक प्रशिक्षण परिषद (NCVT) से राष्ट्रीय शिक्षुता प्रमाण पत्र (NSC) प्राप्त होना चाहिए। Appointment notice पढ़िए:
हालाँकि इस घोषणा के बाद से अपरेंटिस ट्रेनिंग प्राप्त BSL के विस्थापित युवाओ में आक्रोश है। वह पिछले कई महीनो से बीएसएल प्रबंधन के खिलाफ नौकरी की मांग करते हुए प्रदर्शन और घेराव कर रहे थे। हर बार समझाते हुए बीएसएल प्रबंधन उनको आश्वासन दे रहा था। एक विस्थापित युवा विक्रम ने कहा कि यह तो अपरेंटिस ट्रेनिंग प्राप्त किये हुए विस्थापित युवाओ के साथ सरासर अन्याय हुआ है।
उन्होंने कहा कि BSL प्रबंधन ने विस्थापित युवाओ को पहले नौकरी का आश्वासन देते हुए अप्रेंटिस ट्रेनिंग कराया, फिर नौकरी नहीं दी और अब जब वैकेंसी निकाली तो पुरे देश के उम्मेदवारों से आवेदन आमंत्रित कर रहा है। विस्थापितों के लिए कोई आरक्षण भी नहीं है। यह गलत हुआ है। हम विस्थापित इसका पूर्ण विरोध करते है।
BSL द्वारा वैकेंसी की घोषणा के तुरंत बाद विस्थापित अप्रेन्टिस संघ का यह ब्यान आया –
विस्थापित अप्रेन्टिस संघ की बैठक बुधवार की सेक्टर चार स्थित जाहेर गढ़ में हुई। अध्यक्षता प्रभात कुमार ने तथा संचालन दीपक कुमार ने किया। वक्ताओं ने कहा कि बीएसएल (BSL) के द्वारा बहाली का नोटिस निकाल कर हम विस्थापित अप्रेन्टिस के साथ धोखा किया है। सीट की संख्या काफी कम है वहीं अधिकतम उम्र सीमा को घटाकर 28 वर्ष कर दिया गया है। जबकि पूर्व में विस्थापितों को 45 वर्ष तक लिया गया है।
प्रभात कुमार ने कहा प्रबंधन द्वारा दो वर्ष का अप्रेंटिस ट्रेनिंग छह वर्ष में पूरा कराया। नतीजतन आधे विस्थापित ट्रेनिंग पूरा करने के बाद भी उम्र के चलते बहाली के किये आवेदन नहीं कर पायेंगे। सीट की संख्या भी काफी कम है। बहाली निकालने के नाम पर हमारे साथ छल किया गया है। इससे विस्थापितों में भारी आक्रोश है। आने वाले समय में विस्थापितों का आक्रोश झेलने को तैयार रहे इस्पात प्रबंधन।
मौके पर अमजद हुसैन, अरविंद कुमार, सचिन सोरेन, किशोर कुमार, मुबारक अंसारी, सुंदर लाल, ताहिर हुसैन, राकेश कुमार, प्रफ्फुल, अमन, नीलेश पांडे, राजेश कुमार, सद्दाम, अभिजीत, सुदीप, वरुण, सुरेंद्र, शंकर, अंकित, हीरा मांझी, बिनोद सोरेन, पान बाबू हेम्ब्रम, शाहिद अंसारी आदि मौजूद थे।
बोकारो के विस्थापितों के लिए आरक्षण का प्रवधान प्रबंधन को करना ही होगा । यह हक मारी का मामला है ।