Bokaro: बोकारो के पुलिस अधीक्षक (एसपी) मनोज स्वर्गियारी ने रविवार को झारखंड के सबसे ऊंचे मतदान केंद्र झुमरा पहाड़ (Jhumra Hill) का दौरा किया और सुरक्षा व्यवस्था का जायजा लिया। आगामी 2024 विधानसभा चुनावों को ध्यान में रखते हुए एसपी ने तिरला, कंडेर, झुमरा पहाड़, रहावन और महुआटांड़ जैसे नक्सल प्रभावित क्षेत्रों का निरीक्षण किया। उन्होंने CRPF कैंप में तैनात जवानों को शांतिपूर्ण चुनाव सुनिश्चित करने के लिए जरूरी दिशा-निर्देश भी दिए। Click here to join Whatsapp: https://whatsapp.com/channel/0029Va98epRFSAsy7Jyo0o1x
झुमरा: माओवादियों का गढ़ से सुरक्षित मतदान केंद्र तक का सफर
2024 के लोकसभा चुनाव में, 20 साल में पहली बार मतदान कर्मी सड़क मार्ग से झुमरा पहुंचे। यह बदलाव महत्वपूर्ण है, क्योंकि पहले यहां माओवादियों के खतरे के कारण पोलिंग टीमों को हेलीकॉप्टर से उतारा जाता था। गिरिडीह लोकसभा क्षेत्र के गोमिया प्रखंड के सरकारी स्कूल (बूथ नंबर 44) में स्थित यह केंद्र कभी माओवादियों का गढ़ था। 2019 तक, झुमरा तक किसी भी माध्यम से पहुंचना चुनौतीपूर्ण था। लेकिन लगातार सुरक्षा बलों की कार्रवाई और बुनियादी ढांचे में सुधार ने इस क्षेत्र को सुरक्षित बना दिया है, जिससे नागरिकों और पोलिंग टीमों के लिए यहां पहुंचना अब संभव है।
समुद्र तल से 2,500 फीट की ऊंचाई पर स्थित है झुमरा पहाड़
लगभग 2,500 फीट की ऊंचाई पर स्थित झुमरा पहाड़ पर सुरक्षा बलों की नियमित निगरानी और बुनियादी ढांचे में सुधार के कारण माओवादी गतिविधियों में गिरावट आई है। इससे लोगों का सरकार पर भरोसा बढ़ा है। 2022 के पंचायत चुनाव में झुमरा में 74.02% मतदान हुआ था। इससे क्षेत्र में सुरक्षा और भागीदारी में सुधार का पता चलता है। झुमरा पहाड़ बोकारो ज़िले के गोमिया प्रखंड में स्तिथ है और बेहद खूबसूरत है। Click here to join Whatsapp: https://whatsapp.com/channel/0029Va98epRFSAsy7Jyo0o1x
जंगल और पहाड़ी रास्तों से होकर पहुंचे थे मतदान करने
झुमरा गांव के मतदान केंद्र पर कुल 815 मतदाता हैं, जिनमें 413 पुरुष और 402 महिलाएं शामिल हैं। 2024 के लोकसभा चुनाव में जमनीजारा, सिमराबेड़ा, बलथरवा, सुअरकटवा और मुर्गटोला जैसे आधा दर्जन गांवों के लोग जंगल और चुनौतीपूर्ण रास्तों से पैदल चलकर मतदान केंद्र तक पहुंचे थे। खासतौर पर बुजुर्ग और महिलाएं काफी उत्साह के साथ वोट देने आई थीं। कुल 578 मतदाताओं ने मतदान किया। इस बार प्रशासन की कोशिश है कि मतदान प्रतिशत और बढ़े, ताकि अधिक से अधिक लोग अपने मताधिकार का उपयोग कर सकें।
झुमरा में आ रहे हैं बदलाव
झुमरा के निवासी और सहायक शिक्षक मोहलाल महतो ने गांव में बेहतर बुनियादी ढांचे और मजबूत सुरक्षा व्यवस्था की सराहना की। उन्होंने बताया कि इस बार उनके कई दोस्त, जो महाराष्ट्र, छत्तीसगढ़ और अन्य राज्यों में काम के सिलसिले में रहते हैं, वोट देने के लिए गांव वापस आने की योजना बना रहे हैं। यह बदलाव झुमरा के उस दौर से बाहर निकलने की कहानी कहता है, जब यह माओवादियों के आतंक का केंद्र था। अब लोग खुलकर चुनावी प्रक्रिया में भाग ले रहे हैं और अपने भविष्य का निर्माण कर रहे हैं। Click here to join Whatsapp: https://whatsapp.com/channel/0029Va98epRFSAsy7Jyo0o1x