Bokaro: सेक्टर 12 में बन रहे जगरनाथ महतो मेडिकल कॉलेज (Medical College) में एक मज़दूर की सोमवार शाम को मौत हो गई। मौत के कारण पर रहस्य बरक़रार। घटना के बाद, गुस्साए मज़दूरों ने कंस्ट्रक्शन कंपनी के ऑफिस में तोड़फोड़ की और जमकर हंगामा किया। मजदूरों का आरोप था कि घटना के बाद, कंस्ट्रक्शन कंपनी के अधिकारियों ने बेरहमी से मृतक को एक पिकअप वैन के पीछे लादा और चुपचाप पिछले गेट से निकल गए। मृतक को गुपचुप तरीके से ले जाने की बात पर मजदूर आक्रोशित थे और कई सवाल उठा रहे थे। बता दें निर्माणाधीन मेडिकल कॉलेज कैंपस में ही लेबर कैंप है और साइट ऑफिस कैंपस में ही उससे कुछ दूर स्तिथ है। Video आखिरी में देखें–
मेडिकल कैंप के लेबर कैंप में मार्च किया
घटना के बाद, पुलिस मौके पर पहुंची और स्थिति को काबू में किया। सेक्टर 12 पुलिस स्टेशन के इंचार्ज सुभाष कुमार और सेक्टर 4 पुलिस स्टेशन के इंचार्ज संजय कुमार के नेतृत्व में रात में पुलिसकर्मियों ने मेडिकल कॉलेज परिसर में स्थित लेबर कैंप में मार्च किया। खबर लिखे जाने तक, मेडिकल कॉलेज में पुलिसकर्मी तैनात थे। कंस्ट्रक्शन का काम संभाल रही केएमवी कंस्ट्रक्शन (KMV Construction) कंपनी का मैनेजमेंट दावा कर रहा है कि मृतक की मौत उसके कमरे में हुई, जबकि पुलिस का कहना है कि मौत का कारण का पता नहीं चल पाया है। अनुसन्धान के बाद ही पुलिस कुछ कह पायेगी।

तेजी से पिछले गेट से निकल गए
मृतक, 46 वर्षीय अमरनाथ सिंह, ज़िले के चास मुफस्सिल इलाके के डाबरबाहल गांव का रहने वाला था। वह अपनी पत्नी अमरावती के साथ लेबर कैंप में रहता था। पड़ोस के कमरे में रहने वाले साथी मज़दूरों ने बताया कि यह घटना शाम करीब 5.30 बजे हुई। मृतक काम के बाद अपने कमरे में लौटा, तो उसकी तबीयत खराब थी, उसके हाथ-पैर अकड़ गए और वह बेहोश हो गया। उसकी हालत देखकर उन्होंने ठेकेदार को बताया, जिसके बाद कंपनी के लोग एक गाड़ी लेकर आए, उसे जल्दबाजी में एक पिकअप वैन के पीछे लादा, उसकी पत्नी को गाड़ी में बिठाया और तेजी से पिछले गेट से निकल गए। जब तक वे कुछ समझ पाते, कंपनी के लोग जा चुके थे। Video आखिरी में देखें–
मृतक हाउसकीपिंग का काम करता था
कैंपस में बने लेबर कैंप में एक हज़ार से ज़्यादा मज़दूर रहते हैं। जैसे ही इस घटना की खबर दूसरे मज़दूरों में फैली, वे गुस्से में आ गए और उन्होंने ऑफिस में तोड़फोड़ की। KMV Construction कंपनी के ह्यूमन रिसोर्स मैनेजर, Kranthi Surineni ने बताया कि मृतक ड्यूटी पर नहीं आया था। मृतक प्रमिला नाम की एक कंस्ट्रक्शन कंपनी के लिए काम करता था। वह अकुशल वर्कर था जो हाउसकीपिंग का काम करता था। कथित तौर पर उसने सुबह शराब पी थी और इसलिए काम पर नहीं आया था। जैसे ही शाम को उनकी बिगड़ती हालत के बारे में पता चला, वह और चार दूसरे स्टाफ मेंबर उनके कमरे में गए और तुरंत उन्हें गाड़ी से सदर अस्पताल ले गए, जहाँ डॉक्टर ने ECG रिपोर्ट देखने के बाद उन्हें मृत घोषित कर दिया। हम उन्हें बहुत सावधानी से ले गए थे, कैंपस में लगे CCTV कैमरों में सब कुछ रिकॉर्ड है।
मज़दूर सवाल उठा रहे हैं कि
हालांकि, मज़दूर सवाल उठा रहे हैं कि अगर मृतक गंभीर रूप से बीमार था तो उसे पास के मेडिकेंट हॉस्पिटल (Medicent Hospital) क्यों नहीं ले जाया गया ? अगर उसे बगल के अस्पताल में जल्दी पहुंचा दिया जाता तो शायद उनकी जान बच जाती। मृतक को इतनी दूर सदर अस्पताल (Sadar Hospital) ले जाने का क्या मकसद था, और वह भी चुपके से ? सेक्टर 12 पुलिस स्टेशन के इंचार्ज सुभाष कुमार ने घटना की पुष्टि करते हुए बताया कि एक मज़दूर की मौत मेडिकल कॉलेज के कैंपस में हो गई थी, जिसके बाद गुस्साए मज़दूरों ने ऑफिस में तोड़फोड़ की। तोड़फोड़ में शामिल मज़दूरों की पहचान CCTV फुटेज से की जा रही है। स्थिति को कंट्रोल में कर लिया गया है। मौत की वजह पोस्ट-मॉर्टम रिपोर्ट आने के बाद ही पता चलेगी। See Video-

