Bokaro: न्याय सदन सभागार में शनिवार को जिला सब कमेटी एवं जिला स्तरीय निगरानी कमेटी (डी.एल.एम.सी) की बैठक हुई। बैठक की अध्यक्षता माननीय प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश (पीडीजे) प्रदीप कुमार श्रीवास्तव ने किया। बैठक में उपायुक्त कुलदीप चौधरी, पुलिस अधीक्षक चंदन कुमार झा, प्रधान न्यायाधीश कुटुंब न्यायालय आलोक कुमार दूबे, पीपी प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, बार एसोसिएशन अध्यक्ष अनिमेष कुमार चौधरी, सीजेएम दिव्या मिश्रा, रजिस्टार रवि कुमार भास्कर सहित न्यायिक पदाधिकारी एवं संबंधित विभागों के अधिकारी उपस्थित थे।
बैठक में प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश प्रदीप कुमार श्रीवास्तव ने पुलिस को विभिन्न मामलों के आरोपितों की पेशी न्यायालय के समक्ष ससमय सुनिश्चित करने को कहा। आरोपितों एवं गवाहों की उपस्थिति सुनवाई के दौरान नहीं होने के कारण विभिन्न लंबित मामलों पर चर्चा की। उन्होंने पुलिस अधीक्षक चंदन झा को सुनिश्चित करने को कहा कि सभी थाना प्रभारी ससमय मामलों से संबंधित केस डायरी न्यायालय के समक्ष प्रस्तुत करें। मामलों से संबंधित गवाही भी अनुसंधान पदाधिकारी/चिकित्सक व अन्य ससमय सुनिश्चित करें। ताकि ज्यादा से ज्यादा मामलों का निष्पादन किया जा सके। वैसे पदाधिकारी/चिकित्सक जो सेवानिवृत हो गए हैं उन्हें संबंधित राज्य के सिविल कोर्ट में ही (वीडियो संवाद के माध्यम से) उनका बयान दर्ज करना सुनिश्चित करने को कहा।
बैठक में उत्पाद विभाग को मामला दर्ज करने पर आरोपितों का पूरा पत्ता दर्ज करने को निर्देशित किया। कहा कि कई मामलों में पूरा पत्ता नहीं है जिससे उन्हें तामिला/सम्मन भेजने में परेशानी हो रही है। आगे, भवन प्रमंडल विभाग के कार्यपालक अभियंता से सिविल कोर्ट में चल रहें निर्माण कार्य/मरम्मती के संबंध में विस्तार से जानकारी ली और कार्य में तेजी लाने को कहा। माननीय पीडीजे ने सोलर पैनल अधिष्ठापन के लिए कंट्रोल रूम का निर्माण जल्द शुरू करने को कहा।
बैठक में सोमवार को राषट्रीय गर्ल चाइल्ड डे पर आयोजित कार्यक्रम को लेकर भी चर्चा की गई। जिला प्रशासन एवं जिला विधिक सेवा प्राधिकार को समन्वय स्थापित कर कार्यक्रम सफल करने को कहा। मौके पर डीएलएसए सचिव श्रीमती लूसी तिग्गा ने विस्तार से जानकारी दी। उन्होंने शिशू योजना के तहत जिला समाज कल्याण/बाल संरक्षण टीम द्वारा बच्चों के लिए किए जा रहे कार्यों की भी समीक्षा की।
आगामी 12 मार्च को प्रस्तावित राष्ट्रीय लोक अदालत के आयोजन को लेकर भी चर्चा हुई। उन्होंने उत्पाद निरीक्षक/वन प्रमंडल व अन्य विभागों को लंबित मामलों में अपना प्रतिवेदन न्यायालय के समक्ष प्रस्तुत करने को कहा। इसके अलावा कई अन्य बिंदुओं पर चर्चा की और जरूरी दिशा – निर्देश दिया गया। मौके पर विभिन्न विभागों के पदाधिकारी उपस्थित थे।