Bokaro: जिले के विभिन्न अंचलों में भू-मापी (सीमांकन) से संबंधित मामलों के निष्पादन में अंचलाधिकारियों (सीओ) की सुस्ती-लापरवाही पर उपायुक्त विजया जाधव ने नारजगी व्यक्त की है। उन्होंने जिले के सभी 09 अंचलों के अंचलाधिकारियों को शोकॉउज (स्पष्टीकरण) किया है। इस बाबत पत्र जारी कर दिया है।
उपायुक्त द्वारा जारी पत्र में स्पष्ट उल्लेख किया गया है कि, समीक्षा क्रम में यह पाया गया है कि सभी अंचलों में भू-मापी (सीमांकन) से संबंधित आवेदन काफी समय से लंबित है। 30 दिन एवं उससे ज्यादा दिनों से सभी अंचलों में भू-मापी (सीमांकन) के कुल 170 आवेदन लंबित है। झारखंड राज्य सेवा देने की गारांटी अधिनियम 2011 के अनुपालन को लेकर स्पष्ट निर्देश दिया गया है। बावजूद इसके भू-मापी (सीमांकन) से संबंधित आवेदनों का ससमय निष्पादन नहीं करना, कार्य निष्पादन में आपकी सुस्ती/लापरवाही को दर्शाता है।
इसी को लेकर उपायुक्त ने सभी नौ अंचलाधिकारियों को शोकॉउज (स्पष्टीकरण) किया है। शोकॉउज (स्पष्टीकरण) में पूछा गया है कि क्यों नहीं झारखंड सेवा देने की गारांटी अधिनियम 2011 अंतर्गत विलंब के लिए दोषी मानते हुए अधिनियम की सुसंगत धारा के तहत अर्थदण्ड अधिरोपित करते हुए उक्त राशि की कटौती आपके वेतन से की जाएं। उन्होंने सभी को ससमय शोकॉउज (स्पष्टीकरण) का जवाब जिला को समर्पित करने का निर्देश दिया है।
उल्लेखनीय हो कि, भू-मापी (सीमांकन) से संबंधित 30 दिन एवं उससे ज्यादा दिनों बेरमो अंचल में 12, चंदनकियारी अंचल में 07, चंद्रपुरा अंचल में 01, चास अंचल में 29, गोमिया अंचल में 66, जरीडीह अंचल में 19, कसमार अंचल में 19, नावाडीह अंचल में 07 एवं पेटरवार अंचल में 10 मामले लंबित हैं।