Bokaro: कुछ दिनों पहले माओवादियों द्वारा चुनाव बहिष्कार का पोस्टर चिपकाये जाने के बावजूद गोमिया (Bokaro) के झुमरा पहाड़ी के ग्रामीणों ने पूरे उत्साह के साथ मतदान किया.
20 वर्षों में पहली बार, मतदान कर्मी सड़क मार्ग से झारखंड के सबसे ऊंचे मतदान केंद्र – झुमरा – पहुंचे थे। झुमरा कभी माओवादियों का गढ़ था। इससे पहले गिरिडीह लोकसभा क्षेत्र अंतर्गत गोमिया प्रखंड के सरकारी स्कूल स्थित बूथ संख्या 44 पर पोलिंग पार्टी को हेलीकॉप्टर से उतारा जाता था. उन दिनों माओवादियों के कारण किसी अन्य माध्यम से चुनाव कराने झुमरा पहुंचना एक बहुत बड़ी चुनौती थी।
समुद्र तल से 2500 फ़ीट ऊंचाई पर स्तिथ है झुमरा
समुद्र तल से लगभग 2,500 फीट की ऊंचाई पर स्थित, झुमरा पहाड़ में बुनियादी ढांचे में सुधार और सुरक्षा बलों की नियमित कार्रवाई के कारण माओवादी गतिविधि में उल्लेखनीय गिरावट देखी गई है। लोगो का भरोसा सरकार पर बढ़ा है। 2022 के पंचायत चुनाव में झुमरा में 74.02% मतदान हुआ था। इससे पहले नवंबर 2015 के चुनाव में झुमरा मतदान केंद्र पर सिर्फ 66 फीसदी वोटिंग हुई थी.
पैदल जंगलों और पहाड़ी रास्तो पर चलकर पहुंचे झुमरा
आपको बता दें कि झुमरा गांव के मतदान केंद्र पर कुल 815 मतदाता हैं, जिनमें 413 पुरुष और 402 महिलाएं हैं. इस बार लगभग आधा दर्जन गांवों – जमनीजारा, सिमराबेड़ा, बलथरवा, सुअरकटवा और मुर्गटोला – के लोग वोट डालने के लिए जंगलों और चुनौतीपूर्ण इलाकों से पैदल चलकर झुमरा मतदान केंद्र पहुंचे थे। खासकर बुजुर्ग के साथ-साथ महिलाएं काफी उत्साहित दिखीं। कुल मतदान 578 हुआ।
गांव में आया बदलाव
झुमरा निवासी और सहायक शिक्षक मोहलाल महतो ने बेहतर बुनियादी ढांचे और मजबूत सुरक्षा व्यवस्था की तारीफ की। उन्होंने बताया कि इस बार उनके गांव के कई दोस्त जो काम के सिलसिले में महाराष्ट्र, छत्तीसगढ़ और अन्य राज्यों में रहते हैं, वोट डालने के लिए घर आये हैं.
सुरक्षा के व्यापक इंतजाम
बोकारो के उपायुक्त जाधव विजय नारायण राव ने कहा कि झुमरा और गोमिया के अन्य मतदान केंद्रों पर सुरक्षा के व्यापक इंतजाम किये गये हैं. मतदान शांतिपूर्वक हुआ. लोग निर्भीक होकर मतदान किये। गोमिया के ब्लॉक डेवलपमेंट ऑफिसर (BDO) महादेव महतो ने कहा कि झुमरा में मतदान बेहद शांतिपूर्ण हुआ।अच्छी संख्या में ग्रामीणों ने वोट किया।