Bokaro: पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के तहत शुक्रवार को ट्रेड युनियन संयुक्त मोर्चा के घटक युनियनो ने बोकारो स्टील प्लांट (BSL) प्रबंधन को 29-30 जनवरी को हड़ताल का नोटिस दे दिया। सेल प्रबंधन की मजदूर विरोधी नीतियों के खिलाफ एडियम बिल्डिंग पर मजदूर सभा की गई।
प्रदर्शन में भारी संख्या में बोकारो स्टील प्लांट (Bokaro Steel Plant) के परमानेंट और ठेका मजदूरों ने भाग लिया। एडीएम गेट के समक्ष मजदूरों ने अपने मांगो को लेकर नारे लगाए। प्रबंधन के खिलाफ आक्रोशित मजदूरों को सम्बोधित करते हुए ट्रेड युनियन संयुक्त मोर्चा के नेताओं ने कहा सेल प्रबंधन की मजदूर विरोधी हरकत अब सिर से उपर हो गया है। मजदूर अब एक दिन भी सहन करने के लिए तैयार नहीं है।
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सेल का मुनाफा बढ़ता जा रहा है। मजदूरों की प्रोडक्टिविटी पिछले पांच वर्षों में बढ़ गई। तमाम बाधाओं के बावजूद मजदुर उत्पादन का वार्षिक लक्ष्य को लगभग शत् प्रतिशत पुरा कर रहे है। फिर भी सेल प्रबंधन मजदूरों की वाजिब हको और मांगों को नहीं देना चाहती है। एक तरफ मजदुर वंचित है, दूसरी ओर पदाधिकारियों को वेज रिवीजन का अकूत लाभ दिया जा रहा है।
नेताओ ने कहा कि सेल (SAIL) ने अधिकारियों को लाखो रुपया बांटा, लेकिन मजदूरों सम्मान जनक बोनस से भी वंचित रहे। पिछले सात वर्षों से ठेका मजदूरों की मजदूरी में एक रूपए की भी वृद्धि नहीं की गई है। प्रबंधन का यह सब कदम न तो सिर्फ मजदूर विरोधी है बल्कि प्लांट विरोधी भी है। प्रबंधन की मजदूर विरोधी कदम और संवेदनहीन मानसिकता को सेल के मजदूर और ठेका मजदूर अच्छी तरह समझ चुके हैं।
मजदूरों का भरोसा प्रबंधन से उठ चुका है और अब आर-पार की लड़ाई लड़ने के मुड में है। अभी भी समय है सेल प्रबंधन चेत जाय और 20 जनवरी को होने वाली एनजेसीजस की बैठक में बोनस, 39 माह का एरियर, ठेका मजदूरों का वेज रिवीजन, नाइट शिफ्ट भत्ता आदि लम्बित मांगों पर मजदूर पक्षीय फैसला अविलंब ले। अन्यथा 29-30 जनवरी की हड़ताल का सामना करने के लिए तैयार रहें ।
बताते चले कि बोनस, एरियर सहित विभिन्न बकाये के भुगतान की मांग को लेकर पिछले कई महीनों से स्टील अथॉरिटी ऑफ इंडिया लिमिटेड के अधीन कार्यरत स्थायी व अस्थायी श्रमिक आंदोलनरत हैं. कर्मियों और यूनियनों का आरोप है कि अभी तक सेल प्रबंधन ने मांगों पर सकारात्मक पहल नहीं की है. जिसके बाद देश भर की सभी केंद्रीय ट्रेड यूनियनों ने मिलकर सेल प्रबंधन के खिलाफ हड़ताल पर जाने का फैसला किया है.
ट्रेड यूनियन नेताओ के अनुसार यह आंदोलन श्रमिकों के हित के लिए जरूरी है. मुख्य रूप से इंटक के वीरेंद्र नाथ चौबे, बी ऐन उपाध्य, एटक के रामाश्रय प्रसाद सिंह, सतेंद्र कुमार, सीटू के के एन सिंह,आर के गोराई, एच एम एस के राजेन्द्र सिंह, आर के सिंह सम्मिलित हुए।