Bokaro: मकर संक्रांति आते ही तिलकुट की खुशबू बाजारों में महकने लगती है। चौक चौराहों पर तिलकुट की दुकानों पर भीड़ होने शुरू हो गई हैं। बोकारो में भी तिलकुट को लेकर बाजार सज गया है। सोमवार को मकर संक्रांति का पर्व है, जिसको लेकर लोगों में खासा उत्साह देखने को मिल रहा है।
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मकर संक्रांति के मौके पर तिलकुट की बढ़ती मांग को देखते हुए व्यापारी भी तिलकुट बनाने में जुटे हुए हैं। बोकारो के सिटी सेंटर, चास और सेक्टर के इलाकों में विभिन्न तरह के तिलकुट मिल रहे हैं। कोई गुड़ के तिलकुट की फरमाइश कर रहा है तो कोई चीनी से बने तिलकुट की। चूड़ा, मुड़ी और तिल के लड्डुओं की भी काफी डिमांड है।
सेक्टर 4 F मोड पर स्तिथ तिलकुट दूकान के कारीगर शिव शक्ति बताते हैं कि वह पिछले दो दशक से तिलकुट बना रहे हैं। इस वर्ष भी तिलकुट का बाजार लगा है। जिसमे सबसे ज्यादा गुड़ के तिलकुट की मांग देखी जा रही है। एक अन्य तिलकुट व्यापारी ने बताया कि मकर संक्रांति आने के दो माह पहले से ही वे लोग तैयारी में जुट जाते हैं।
तिलकुट में सबसे महत्वपूर्ण तिल होता है। गौरतलब है कि मकर संक्रांति के मौके पर तिलकुट की मांग चरम पर होती है। ऐसे में बाहर से आए कारीगरों को भी तिलकुट बनाने का काम मिलता है।
इस वर्ष तिलकुट की कीमत 280 -300 रूपये प्रति किलो है। क्योंकि इस वर्ष तिल के कीमत में खासा बढ़ोतरी हुई है। सर्दियों से मकर संक्रांति के मौके पर तिल खाने की परंपरा है। इसी परंपरा के तहत प्रतिवर्ष मकर संक्रांति के मौके पर लोग तिलकुट खरीदते हैं।